कांग्रेस एक डूबती नाव : भाजपा
खतरे की आहट देखकर कांग्रेस का साथ छोड़ रहे हैं सहयोगी दल
खतरे की आहट देखकर कांग्रेस का साथ छोड़ रहे हैं सहयोगी दल
गुवाहाटी (हिंस) । प्रदेश भारतीय जनता पार्टी के प्रवक्ता सुभाष दत्ता ने कहा कि सरकार ने असम माइक्रोफाइनेंस प्रोत्साहन और लाभ पहुंचाने वाली योजना 2021 के माध्यम से आर्थिक रूप से पिछड़े माइक्रोफाइनेंस उधारकर्ताओं पर भारी वित्तीय बोझ को हटाने और असम के पिछड़े क्षेत्रों में इन महिलाओं को फिर से ऋण लेने के लिए पात्र बनाने के लिए कदम उठाए हैं। असम सरकार ने नो ड्यूज सर्टिफिकेट के आधिकारिक वितरण के माध्यम से राज्य के 24 स्थानों पर 2.22 लाख कर्जदार महिलाओं को बड़ी राहत दी की। सोमवार को सुभाष दत्ता ने असम के गरीबों और पिछड़े लोगों की लगातार मदद करने के लिए असम सरकार को धन्यवाद दिया और आर्थिक रूप से वंचित लोगों के कल्याण के लिए किए गए विभिन्न प्रयासों को सराहा । प्रवक्ता ने कहा कि राज्य के बुनियादी ढांचे, निरंतर विकास और मजबूत वित्तीय प्रबंधन ने धीरे-धीरे राज्य की आर्थिक नींव को मजबूत किया है। उन्होंने कहा कि असम का विकास कांग्रेस के नेतृत्व वाली सरकार के कुशासन से मुक्त होने के बाद ही संभव हो सका है। प्रवक्ता ने कांग्रेस को डूबती नाव बताते हुए कहा कि जो सहयोगी दल डूबती नाव पर सवार होना चाहते थे, वे खतरे की घंटी बजते देख एक- एक करके नाव उतर रहे हैं । प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष भूपेन बोरा ने असम सरकार की माइक्रोफाइनेंस ऋण माफी और अरुणोदोई योजना की आलोचना की है, लेकिन कांग्रेस नेतृत्व ने भाजपा सरकार की अरुणोदय योजना की नकल की और कहा कि अगर वे शासन करेंगे तो प्रत्येक को 2,500 रुपए देंगे। उन्होंने कहा कि जनजातियों के लिए आने वाले धन को आत्मसात कर संपत्ति का पहाड़ बनाने वाले कुछ कांग्रेस नेताओं को साथ लेकर भूपेन बोरा कितना भी घूम लें, बावजूज असम के जनजातीय जनगोष्ठी जनता आज भाजपा के साथ है, असम के मुख्यमंत्री के साथ हैं। प्रवक्ता ने कहा कि केवल भाजपा गठबंधन सरकार ने असम के बराक- बह्मपुत्र, पहाड़ी और मैदानी इलाकों में रहने वाले आदिवासी समुदायों के सामाजिक-आर्थिक उत्थान के लिए ईमानदारी से काम किया है, इसलिए डॉ. हिमंत बिस्वा शर्मा के नेतृत्व वाली सरकार ने भारत की आजादी के अमृत काल में शानदार कदम उठाए हैं। मिसिंग जनगोष्ठी के पवित्र मूरंग घर में पहुंच कर जनगोष्ठी के परंपरा और स्वाभीमान का अपमान करने वाले भूपेन बोरा जैसे नेता को यह याद रखना चाहिए कि उनके जैसे आचरण करने वाले कुछ कांग्रेसी नेताओं के कारण ही असम के सात राज्य अलग हो गए। प्रवक्ता ने कहा कि भाजपा अगप और बोडो, राभा, मिसिंग और तिवा समुदायों की राजनीतिक ताकतों के साथ गठबंधन करके लोगों की उम्मीदों के साथ सरकार चला रही है, दुष्प्रचार के जरिए कांग्रेस असम के आदिवासी समुदाय के बीच अविश्वास का माहौल नहीं बन सकती है