
नई दिल्ली। कोयला मंत्रालय ने राष्ट्रीय कर्मयोगी कार्यक्रम के तहत बड़े पैमाने पर पहल (एलएसआई) के पहले चरण को सफलतापूर्वक पूरा कर लिया है। इस कार्यक्रम का उद्देश्य निदेशक स्तर तक के अधिकारियों में सेवा भाव की भावना को और सबल बनाने के लिए प्रोत्साहन देना है। कोयला मंत्रालय ने बुधवार को जारी एक बयान में कहा कि मंत्रालय ने राष्ट्रीय कर्मयोगी कार्यक्रम के तहत व्यापक स्तर पर हस्तक्षेप (एलएसआई) के चरण-1 को सफलतापूर्वक पूरा कर लिया है। यह प्रशिक्षण सत्र 27-28 फरवरी और 11-12 मार्च को सिविल सेवा अधिकारी संस्थान, नई दिल्ली में आयोजित किए गए। सार्वजनिक सेवा और राष्ट्र निर्माण के लिए अपनी प्रतिबद्धता को मजबूत करने के लिए तैयार किए गए चार परस्पर वार्तालाप प्रशिक्षण सत्रों में 120 से अधिक अधिकारियों ने सक्रिय रूप से भाग लिया। इसका उद्देश्य सरकारी अधिकारियों की दक्षता और कौशल विकास को बढ़ाना है। कोयला मंत्रालय के संयुक्त सचिव और सीबीयू प्रमुख बी. पी. पति ने कार्यक्रम का उद्घाटन करते हुए देश के भविष्य को आकार देने में सार्वजनिक सेवा की महत्वपूर्ण भूमिका पर बल दिया। उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि सार्वजनिक सेवा एक प्रगतिशील राष्ट्र की आधारशिला है। यह पहल कौशल संवर्धन से कहीं आगे बढ़ते हुए सार्थक परिवर्तन लाने और नागरिकों के जीवन पर सकारात्मक प्रभाव डालने के हमारे दायित्व की पुष्टि है। देश की प्रगति को आगे बढ़ाने में हर अधिकारी की अहम भूमिका होती है।
