देश में निवेश की संभावना तलाशने के लिए अमेरिका के सार्वजनिक पेंशन फंडों के उच्च स्तरीय अधिकारियों का एक दल अगले हफ्ते भारत आ रहा है। ये अधिकारी अमेरिका के विभिन्न प्रांतों से हैं और कुल मिलाकर अमेरिका और वैश्विक बाजारों में निवेश की गई 1.8 लाख करोड़ डॉलर की परिसंपत्ति (एयूएम) का प्रतिनिधित्व करते हैं। इस प्रतिनिधिमंडल की मेजबानी भारत में संयुक्त राज्य अमेरिका (यूएस) मिशन, भारत के वित्त मंत्रालय और राष्ट्रीय निवेश और बुनियादी ढांचा कोष कर रहे हैं। रोडशो को वित्तीय भविष्य का निर्माण नाम दिया गया है जिसका आयोजन 9 से 13 सितंबर तक किया जाएगा। अमेरिकी अधिकारियों का दल दिल्ली, बेंगलूरु और मुंबई का दौरा करेगा जहां वह प्रौद्योगिकी, बैंकिंग और वित्तीय क्षेत्र के विशेषज्ञों से मुलाकात करेगा। दिल्ली में सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ भी उसकी बैठक होगी। अमेरिका में करीब 200 सार्वजनिक पेंशन फंड हैं। अगले हफ्ते भारत आने वाले प्रतिनिधिमंडल में 5 पेंशन फंडों के अधिकारी शामिल होंगे। अमेरिका के महावाणिज्य दूतावास के प्रमुख माइक हैंकी ने कहा कि यह पहला मौका है जब अमेरिकी मिशन इस तरह से फंडों का एक प्रतिनिधिमंडल किसी देश में भेज रहा है। भारत के बुनियादी ढांचा क्षेत्र, स्वच्छ ऊर्जा, शहरी नियोजन और बुनियादी ढांचा, डीकार्बोनाइजेशन, बंदरगाह, विमानन, स्वास्थ्य देखभाल और फार्मा जैसे क्षेत्रों में अपार अवसरों का प्रतिनिधित्व करता है। हमारा लक्ष्य इन पेंशन फंड प्रतिनिधियों को भारत में अवसरों से अवगत कराना है। वैश्विक फर्में किसी एक देश पर निर्भरता घटाकर अपनी आपूर्ति श्रृंखला को मजबूत बनाने का प्रयास कर रही हैं और अलग- अलग जगहों पर अपना विनिर्माण केंद्र स्थापित कर रही हैं।